अब कुछ देर तुम धूरी बने रहो ...
मैं परिधि बनना चाहूंगी।
अपने हिसाब वाली
दूर ....पास
खुला ....बंद
अंदर.... बाहर
ये केवल विलोम तो नहीं होते होंगे ?
है ना?
लाओ इन्हें कुछ देर विशेषण कर लूं।
मैं परिधि बनना चाहूंगी।
अपने हिसाब वाली
दूर ....पास
खुला ....बंद
अंदर.... बाहर
ये केवल विलोम तो नहीं होते होंगे ?
है ना?
लाओ इन्हें कुछ देर विशेषण कर लूं।
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